०५ विनैसॆयल्वगै

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७१

सूऴ्च्चि मुडिवु तुणिवॆय्दल् अत्तुणिवु
ताऴ्च्चियुळ् तङ्गुदल् तीदु। ६७१

श्री-राम-देशिकः - ६७१

अधिकारः ६८. कार्याचरणप्रकारः
अनिवार्यमिदं चेति विमर्शन्निर्णये सति ।
आलस्यं नैव कर्तव्यमन्यथा व्यसनं भवेत् ॥ ६७१॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७१

०६७१
The end of deliberation is decision.
To decide and dawdle is bad.
(P.S. Sundaram)

NVK Ashraf notes (en) - ६७१

६७१. Compare with ६६८. “Acts resolved without ambiguity should be unwaveringly carried out without delay” - (N.V.K. Ashraf)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७१

671. cūḻcci muṭivu tuṇivu eytal; at tuṇivu
tāḻcciyuḷ taṅkutal tītu.

671. Decision is the result of deliberation. It is harmful to rest it low.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७१

1. சூழ்ச்சி முடிவு துணிவெய்தல் அத்துணிவு
தாழ்ச்சியுள் தங்குதல் தீது.
When counsel takes a resolve strong
Weak delay of action is wrong. 671

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७१

671 निश्चय कर लेना रहा, विचार का परिणाम ।
हानि करेगा देर से, रुकना निश्चित काम ॥

श्रीनिवास (क) - ६७१
  1. ऒन्दु कॆलस बग्गॆ, हलवरल्लि आलोचिसि विचार माडि निर्धारवन्नु कैगॊळ्ळबेकु; आ रीति कैगॊण्ड निर्धारवन्नु कालहरणदिन्द निर्धानिसिदरॆ अदरिन्द कॆडुके आगुवुदु.
मूलम् - ६७१

सूऴ्च्चि मुडिवु तुणिवॆय्दल् अत्तुणिवु
ताऴ्च्चियुळ् तङ्गुदल् तीदु। ६७१

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७२

तूङ्गुग तूङ्गिच् चॆयऱ्पाल तूङ्गऱ्क
तूङ्गादु सॆय्युम् विऩै। ६७२

श्री-राम-देशिकः - ६७२

यदालस्येन कर्तव्यं तत्रालस्य प्रदर्श्यताम् ।
त्वरया करणीयं यत् तत्रालस्यं न शोभनाम् ॥ ६७२॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७२

०६७२
Delay where delay is needed,
But do not delay when you must act.
(P.S. Sundaram)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७२

672. tūṅkuka, tūṅkic ceyaṟpāla; tūṅkaṟka,
tūṅkātu ceyyum viṉai.

672. Delay such things as call for delay. But never delay that which cannot be delayed.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७२

2. தூங்குக தூங்கிச் செயற்பால தூங்கற்க
தூங்காது செய்யும் வினை.
Delay such acts as need delay
Delay not acts that need display. 672

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७२

672 जो विलम्ब के योग्य है, करो उसे सविलम्ब ।
जो होना अविलम्ब ही, करो उसे अविलम्ब ॥

श्रीनिवास (क) - ६७२
  1. कालवन्नु ताळि निधानिसि माडबेकाद कॆलसवन्नु निधानिसिये माडबेकु. आलस्यविल्लदॆ कूडले माडबेकाद कॆलसवन्नु ऒडनॆये (आलस्यविल्लवॆ) माडि पूरैसबेकु.
मूलम् - ६७२

तूङ्गुग तूङ्गिच् चॆयऱ्पाल तूङ्गऱ्क
तूङ्गादु सॆय्युम् विऩै। ६७२

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७३

ङल्लुंवा यॆल्लाम् विऩैनऩ्ऱे ऒल्लाक्काल्
सॆल्लुंवाय् नोक्किच् चॆयल्। ६७३

श्री-राम-देशिकः - ६७३

लब्धेऽवकाशो सर्वत्र कृत्वा कार्यं समाप्यताम् ।
तदभावे यदा यत्तु साध्यं तत् तत्र साध्यताम् ॥ ६७३॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७३

०६७३
Better strike wherever possible;
Elsewhere, consider other feasible means. *
(P.S. Sundaram)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७३

673. ollum vāy ellām viṉai naṉṟē; ollākkāl,
cellum vāy nōkkic ceyal.

673. Achieve a thing wherever possible; if it were not possible adopt a cautious policy.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७३

3. ஒல்லும்வா யெல்லாம் வினைநன்றே ஒல்லாக்கால்
செல்லும்வாய் நோக்கிச் செயல்.
It’s best to act when feasible
If not see what is possible. 673

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७३

673 जहाँ जहाँ वश चल सके, भलाकार्य हो जाय ।
वश न चले तो कीजिये, संभव देख उपाय ॥

श्रीनिवास (क) - ६७३
  1. साध्यविरुव ऎडॆयल्लॆल्ल कॆलसमाडि मुगिसुवुदु ऒळ्ळॆयुदु. साध्यवागद ऎडॆयल्लि फलप्रदवागबल्ल् उछित विधानगळन्नु नोडि अनुसरिसि माडबेकु.
मूलम् - ६७३

ङल्लुंवा यॆल्लाम् विऩैनऩ्ऱे ऒल्लाक्काल्
सॆल्लुंवाय् नोक्किच् चॆयल्। ६७३

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७४

विऩैबगै ऎऩ्ऱिरण्डिऩ् ऎच्चम् निऩैयुङ्गाल्
तीयॆच्चम् पोलत् तॆऱुम्। ६७४

श्री-राम-देशिकः - ६७४

आरब्धकार्ये यच्छिष्टं शिष्टं यद्धतशत्रुषु ।
द्वयं गूढं सदन्ते तु दहेच्छिष्टस्फुलिङ्गवत् ॥ ६७४॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७४

०६७४
Both tasks and foes, if left unfinished,
Will destroy like fire left un-extinguished. *
(Satguru Subramuniyaswami), ( Shuddhananda Bharatiar)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७४

674. viṉai, pakai eṉṟu iraṇṭiṉ eccam, niṉaiyuṅkāl,
tī eccam pōlat teṟum.

674. An unfinished deed and an unfinished fight will like a half extinguished fire, cause ultimate harm.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७४

4. வினைபகை என்றிரண்டின் எச்சம் நினையுங்கால்
தீயெச்சம் போலத் தெறும்.
Work or foe left unfinished
Flare up like fire unextinguished. 674

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७४

674 कर्म-शेष रखना तथा, शत्रु जनों में शेष ।
अग्नि-शेष सम ही करें, दोनों हानि विशेष ॥

श्रीनिवास (क) - ६७४
  1. तॊडगिद कॆलस, हगॆतन, ई ऎरडर उळिकॆगळु, विचार माडि नोडिदाग, किच्चिन अवशेषदन्तॆ अरिवागदन्तॆ व्यापिसि कॆडुकुण्टु माडुत्तवॆ.
मूलम् - ६७४

विऩैबगै ऎऩ्ऱिरण्डिऩ् ऎच्चम् निऩैयुङ्गाल्
तीयॆच्चम् पोलत् तॆऱुम्। ६७४

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७५

पॊरुळ्गरुवि कालम् विऩैयिडऩॊडु ऐन्दुम्
इरुळ्दीर ऎण्णिच् चॆयल्। ६७५

श्री-राम-देशिकः - ६७५

द्रव्यकालक्रियाहेतुस्थलानामनुकूलताम् ।
पञ्चानामपि विस्पष्ठं बुध्वा कार्यं विधीयताम् ॥ ६७५॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७५

०६७५
Five things should be pondered before you act:
Resources, weapons, time, place and deed.
(P.S. Sundaram)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७५

675. poruḷ, karuvi, kālam, viṉai, iṭaṉoṭu aintum
iruḷ tīra eṇṇic ceyal!.

675. Do a thing after carefully deliberating on five things; resources, means, the time, the nature of the deed, and the place.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७५

5. பொருள்கருவி காலம் வினையிடனொடு ஐந்தும்
இருள்தீர எண்ணிச் செயல்.
Money and means, time, place and deed
Decide these five and then proceed. 675

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७५

675 धन साधन अवसर तथा, स्थान व निश्चित कर्म ।
पाँचों पर भ्रम के बिना, विचार कर कर कर्म ॥

श्रीनिवास (क) - ६७५
  1. हण, साधन, काल, कॆलस, स्थळ- ई ऐदर विषयदल्लियू विस्तरणॆगॆ ऎडॆकॊडदॆ, आलोचिसि माडबेकु.
मूलम् - ६७५

पॊरुळ्गरुवि कालम् विऩैयिडऩॊडु ऐन्दुम्
इरुळ्दीर ऎण्णिच् चॆयल्। ६७५

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७६

मुडिवुम् इडैयूऱुम् मुऱ्ऱियाङ्गु ऎय्दुम्
पडुबयऩुम् पार्त्तुच् चॆयल्। ६७६

श्री-राम-देशिकः - ६७६

क्रियासम्बन्धिनो यत्नान् विघ्नान् सम्भावितान् तथा ।
अन्ते महाफलप्राप्तिं त्रयं बुध्वा क्रियां कुरु ॥ ६७६॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७६

०६७६
Weigh well before you plunge:
The inputs, impediments and gain.
(P.S. Sundaram)

NVK Ashraf notes (en) - ६७६

६७६. Compare with ४६१. Act after taking into account the cost, the benefit and the net. - (P.S. Sundaram)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७६

676. muṭivum, iṭaiyūṟum, muṟṟiyāṅku eytum
paṭupayaṉum, pārttuc ceyal!.

676. In doing a thing, weigh deeply your aim, the hindrances and the final gain thereof.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७६

6. முடிவும் இடையூறும் முற்றியாங்கு எய்தும்
படுபயனும் பார்த்துச் செயல்.
Weigh well the end, hindrance, profit
And then pursue a fitting act. 676

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७६

676 साधन में श्रम, विघ्न भी, पूरा हो जब कर्म ।
प्राप लाभ कितना बड़ा, देख इन्हें कर कर्म ॥

श्रीनिवास (क) - ६७६
  1. कॆलसवन्नु मुगिसुव रीति, नडुवॆ बरुव अडचणॆगळु, मुगिद मेलॆ दॊरॆयुव हिरिय प्रयोजन इवुगळन्नु विचारमाडी कॆलसदल्लि तॊडगबेकु.
मूलम् - ६७६

मुडिवुम् इडैयूऱुम् मुऱ्ऱियाङ्गु ऎय्दुम्
पडुबयऩुम् पार्त्तुच् चॆयल्। ६७६

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७७

सॆय्विऩै सॆय्वाऩ् सॆयऩ्मुऱै अव्विऩै
उळ्ळऱिवाऩ् उळ्ळम् कॊळल्। ६७७

श्री-राम-देशिकः - ६७७

कार्ये प्राप्ते क्रियातत्त्वं बुध्वा पूर्वं तु सा क्रिया ।
यैः कृता भावमेषां च ज्ञात्वा कार्ये मतिं कुरु ॥ ६७७॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७७

०६७७
Experts have the expertise.
Get that expertise by knowing him inside out.
(S.M. Diaz), (N.V.K. Ashraf)

NVK Ashraf notes (en) - ६७७

६७७. Different renderings, though not literal: [i] “The way to do a thing is to get inside an insider” - (P.S. Sundaram) [ii] “In considering how to accomplish a task, one must go by the experience of others” - (K. Krishnaswamy & Vijaya Ramkumar)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७७

677. ceyviṉai ceyvāṉ ceyalmuṟai, av viṉai
uḷ aṟivāṉ uḷḷam koḷal.

677. The manner in which a thing should be done is to be determined after consulting an expert.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७७

7. செய்வினை செய்வான் செயல்முறை அவ்வினை
உள்ளறிவான் உள்ளம் கொளல்.
Know first the secret from experts
That is the way of fruitful acts. 677

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७७

677 विधि है कर्मी को यही, जब करता है कर्म ।
उसके अति मर्मज्ञ से, ग्रहण करे वह मर्म ॥

श्रीनिवास (क) - ६७७
  1. ऒन्दु कॆलसदल्लि तॊडगिदवनु माडबेकाद कर्तव्यवॆन्दरॆ, आ कॆलसद रहस्यवन्नु चॆन्नागि तिळिदवन सलहॆयन्नु पडॆदुकॊळ्ळुवुदु.
मूलम् - ६७७

सॆय्विऩै सॆय्वाऩ् सॆयऩ्मुऱै अव्विऩै
उळ्ळऱिवाऩ् उळ्ळम् कॊळल्। ६७७

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७८

विऩैयाऩ् विऩैयाक्किक् कोडल् नऩैगवुळ्
याऩैयाल् याऩैयात् तऱ्ऱु। ६७८

श्री-राम-देशिकः - ६७८

मत्तेभमेकं संप्रेप्य यथन्यो गृह्यते गजः ।
कृतेनैकेन कार्येण तथान्यदपि साध्यताम् ॥ ६७८॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७८

०६७८
Let one target be achieved through one’s action,
Like an elephant through another. *
SDR

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७८

678. viṉaiyāṉ viṉai ākkikkōṭal-naṉai kavuḷ
yāṉaiyāl yāṉai yāttaṟṟu.

678. Use one act to achieve another just as one wild elephant is used to capture another.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७८

8. வினையால் வினையாக்கிக் கோடல் நனைகவுள்
யானையால் யானையாத் தற்று.
Lure a tusker by a tusker
Achieve a deed by deed better. 678

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७८

678 एक कर्म करते हुए, और कर्म हो जाय ।
मद गज से मद-मत्त गज, जैसे पकड़ा जाय ॥

श्रीनिवास (क) - ६७८
  1. ऒन्दु कॆलसदिन्द मत्तॊन्दु कॆलसवु आगुवन्तॆ माडीकॊळ्ळुवुदु. मदवुळ्ळ आनॆय सहायदिन्द मत्तॊन्दु आनॆयन्नु हिडियवन्तॆ.
मूलम् - ६७८

विऩैयाऩ् विऩैयाक्किक् कोडल् नऩैगवुळ्
याऩैयाल् याऩैयात् तऱ्ऱु। ६७८

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६७९

नट्टार्क्कु नल्ल सॆयलिऩ् विरैन्ददे
ऒट्टारै ऒट्टिक् कॊळल्। ६७९

श्री-राम-देशिकः - ६७९

सुहृदां साह्यकरणं न मुख्यं कुरु तच्छनैः ।
अप्रिया ये स्वशत्रोस्तैः सख्यं प्रथमतः कुरु ॥ ६७९॥

NVK Ashraf choice (en) - ६७९

०६७९
More urgent than rewarding friends,
Is to befriend enemies. *
(K. Krishnaswamy & Vijaya Ramkumar)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६७९

679. naṭṭārkku nalla ceyaliṉ viraintatē-
oṭṭārai oṭṭikkoḷal.

679. It is much more urgent to secure the alliance of one’s enemies, than to do good to one’s friends.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६७९

9. நட்டார்க்கு நல்ல செயலின் விரைந்ததே
ஒட்டாரை ஒட்டிக் கொளல்.
Than doing good to friends it is
More urgent to befriend the foes. 679

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६७९

679 करने से हित कार्य भी, मित्रों के उपयुक्त ।
शत्रु जनों को शीघ्र ही, मित्र बनाना युक्त ॥

श्रीनिवास (क) - ६७९
  1. स्नेहितरादवरिगॆ ऒळ्ळॆयुदु माडदक्किन्त मुख्यवागि मॊदलु माडबेकाद कॆलसवॆन्दरॆ, शत्रुगळन्नु तम्म समीपक्कॆ सॆळॆदुकॊळ्ळुवुदु.
मूलम् - ६७९

नट्टार्क्कु नल्ल सॆयलिऩ् विरैन्ददे
ऒट्टारै ऒट्टिक् कॊळल्। ६७९

विश्वास-प्रस्तुतिः - ६८०

उऱैसिऱियार् उळ्नडुङ्गल् अञ्जिक् कुऱैबॆऱिऩ्
कॊळ्वर् पॆरियार्प् पणिन्दु। ६८०

श्री-राम-देशिकः - ६८०

दुर्बलाः स्वाश्रितजनत्रासनिर्मूलनेच्छया ।
बलिष्ठैः सह सम्बन्धं कुर्युरर्थं प्रदाय वा ॥ ६८०॥

NVK Ashraf choice (en) - ६८०

०६८०
If you are weak and fear internal trouble,
Seize conciliation with the strong. *
(P.S. Sundaram)

रामचन्द्र-दीक्षितः (en) - ६८०

680. uṟai ciṟiyār uḷ naṭuṅkal añci, kuṟai peṟiṉ,
koḷvar periyārp paṇintu.

680. Fearing that their weak king may quake with fear, ministers will bow before superior kings and accept their terms.

शुद्धानन्द-भारती (en) - ६८०

10. உறைசிறியார் உள்நடுங்கல் அஞ்சிக் குறைபெறின்
கொள்வர் பெரியார்ப் பணிந்து.
Small statesmen fearing people’s fear
Submit to foes superior. 680

वेङ्कटकृष्ण (हि) - ६८०

680 भीति समझकर स्वजन की, मंत्री जो कमज़ोर ।
संधि करेंगे नमन कर, रिपु यदि है बरज़ोर ॥

श्रीनिवास (क) - ६८०
  1. सण्णपुट्ट माडलिकरादवरु, तम्म प्रजॆगळु शत्रुगळिन्द भीतरादाग, तमगिन्त बलिष्ठराद हगॆगळु तमगॆ क्षमॆतोरि सन्धिगॆ अवकाश कॊट्टरॆ अवर सामन्तिकॆयन्नु तॆलॆबागि ऒप्पिकॊळ्ळुत्तारॆ. अध्याय
मूलम् - ६८०

उऱैसिऱियार् उळ्नडुङ्गल् अञ्जिक् कुऱैबॆऱिऩ्
कॊळ्वर् पॆरियार्प् पणिन्दु। ६८०